क्या बवासीर बिना ऑपरेशन या सर्जरी पूर्ण रूप से ठीक हो सकती है?
वास्तव में ऐसा नहीं है। बवासीर के मस्से वस्तुतः प्रत्येक मनुष्य में सामान्य रूप से पाये जाते हैं, ये वास्तव में रक्त वाहिनियों का गुच्छा (Haemorrhoidal plexus) होता है, परंतु लगातार पेट खराब रहने कब्ज़ रहने या अत्यधिक गरम तासीर वाले चटपटे, मिर्च मसालेयुक्त भोजन का सेवन करने से इन मस्सों के ऊपर की शैलेष्मिक झिल्ली (mucous membrane) उखड जाती है, जिसके कारण रक्तवाहिनियों से मलत्याग का ज़ोर लगाने पर (Straining during defecation) खून निकलने लगता है। इस समय ये मस्से गुदा के अंदर ही रहते हैं परंतु मलत्याग के समय रुक रुक कर ब्लीडिंग होती है। दर्द सामान्तय: नहीं होता । यह अवस्था प्रथम डिग्री (First degree haemorrhoids) पाईल्स कहलाती है।
प्रथम डिग्री (First degree haemorrhoids) पाईल्स आयुर्वेद औषधियों से पूर्ण रूप से ठीक हो सकती है, और यदि व्यक्ति खाने पीने का ध्यान रखे, तो इसे आगे बढ्ने से भी रोका जा सकता है।
प्रथम डिग्री पाईल्स (First degree haemorrhoids) से अगली अवस्था द्वितीय डिग्री(Second degree haemorrhoids) कहलाती है। इस अवस्था में मस्सों से मलत्याग के समय खून तो आता है परंतु ये मलत्याग के समय ज़ोर लगाने पर बाहर आ जाते हैं, परंतु मलत्याग के बाद स्वतः ही गुदा के अंदर चले जाते हैं। इस अवस्था में भी यदि रक्तस्राव अधिक ना हो तो आयुर्वेद औषधियों और खाने पीने के परहेज से ही रोगी ठीक हो जाता है।
लगातार कब्ज़ बनी रहे और व्यक्ति खाने पीने में सावधानी ना रखे तो ये मस्से मलत्याग के ज़ोर के समय बाहर आते हैं और ज़ोर हटाने पर भी अपने आप अंदर नहीं जाते। अंदर करने के लिए उंगली से सहारा देना पड़ता है। इस अवस्था को त्रतीय डिग्री पाईल्स (Third degree Haemorrhoids) कहते हैं। इस अवस्था में भी यदि रोगी को रक्तस्राव अधिक नहीं हो रहा है और उसको किसी प्रकार का दर्द महसूस नहीं होता तो आयुर्वेद औषधियों और खाने पीने के परहेज से काफी हद तक बीमारी को नियंत्रित किया जा सकता है, परंतु इस अवस्था में यदि ब्लीडिंग ज्यादा हो रही है, तो सर्जरी या ऑपरेशन की आवश्यकता पड़ती है। ऑपरेशन के कई तरीके हैं और आयुर्वेद क्षार सूत्र तकनीक भी मस्सों को पूर्ण रूप से हटाने का एक अच्छा विकल्प है।
अतः बवासीर के केवल उन रोगियों मे सर्जरी या ऑपरेशन की जरूरत पड़ती है जिनके मस्से बड़े हों (Late 2nd or 3rd degree Hemorrhoids) या जिनकी ब्लीडिंग दवाइयों और खाने पीने के परहेज से न नियंत्रित हो रही हो।